प्रभु श्री राम की तरह जीवन में अपनाएं मर्यादाएं : अयोध्यादास
नेशनल 24 लाइव न्यूज़ जनपद। बदायूं बिल्सी।नगर की श्री रामकृष्ण समिति के तत्वावधान में नगर के कछला रोड स्थित माहेश्वरी भवन में चल रही श्री राम कथा के सातवें दिन ऋषिकेश से पधारे संत अयोध्या दास जी रामायणी ने भक्तजनों का आध्यात्मिक मार्गदर्शन किया ।
कथावाचक ने कहा कि श्री रामचरित अति विचित्र है और परम पवित्र भी है देवता भी श्री राम के चरित्र के रहस्य को नहीं समझ पाते। श्री रामचरितमानस का मुख्य सारांश यही है कि हमें प्रभु श्री राम की तरह मर्यादित होकर अपने जीवन के उत्तरदायित्व को निभाना होगा ।
आज पाश्चात्य संस्कृति के बढ़ते प्रचलन के चलते जिस प्रकार से भारतीय संस्कृति के मूल्यों पर प्रहार हो रहा है। उसी के परिणाम स्वरूप आज हमारे युवा पीढ़ी तेजी से भर्मित हो रही है।
उन्होंने कहा ऐसे में यदि भारतीय संस्कृति वेदों पुराणों ग्रंथों में बताए प्रेरणा प्रसंगों का प्रसार नहीं किया गया। तो भविष्य में इसके गंभीर प्रणाम हमारी भावी पीढ़ी को भुगतने पड़ेंगे। उन्होंने कहा कि विद्वान बनना आसान है। सुजान और महान बनना भी आसान है।
लेकिन इंसान बनना कठिन है। विधायक हरीश शाक्य ने कथा में पहुंचकर भगवान राम की आरती की ।इस मौके पर नरेश गरल, चंद्रपाल तोषनीवाल,
सत्यपाल बाष्णेय, लोकेश बाबू, मनोज बाष्णेय, संजीव बाष्णेय, नीरज माहेश्वरी, दुर्गेश बाबू, दिनेश बाबू बाष्णेय, शिव ओम माहेश्वरी व आशीष वशिष्ठ आदि मौजूद रहे।